Monday, August 8, 2016

कौन


मेरी तकदीर है, तुम भी रूठ गए
फिर बनाएगा मेरी बिगड़ी हुई कौन ?

आज दरार है, कल खाई होगी
आपकी कृपा बिन भरेगा कौन ?

मैं चुप हूँ अन्तर्यामी तुम सब जानो,
इस चुप्पी को फिर तोडे़गा कौन ?

बात छोटी को लगा लोगे दिल से,
तो रिश्ता फिर निभाएगा कौन ?

दुखी मैं हो ज्याउंगा बिछड़कर,
हाथ तुम बिन फिर बढ़ाएगा कौन ?

नादाँ हूँ ना गलती माफ़ करोगे गर तुम
फिर माफ़ करने का बड़प्पन दिखाएगा कौन ?

डूब जाएगा यादों में दिल कभी,
तो फिर धैर्य बंधायेगा कौन ?

एक अहम् बसा है मेरे भीतर कबसे,
इस अहम् को फिर हराएगा कौन ?

ज़िंदगी कहाँ मिली है "सत्येन"सदा के लिए ?
आप बिन मुक्ति मार्ग दिखायेगा मुझे कौन ?